У нас вы можете посмотреть бесплатно IPC SECTION 468 in Hindi.By Advocate S L Sharma Indian Penal Code, 1860 भारतीय दण्ड संहिता или скачать в максимальном доступном качестве, видео которое было загружено на ютуб. Для загрузки выберите вариант из формы ниже:
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#lawexpertinindia #lawyer #law #legalexpertindelhi #ipc #section468 #legaladvice #onlinelegalaid नमस्कार दोस्तों कैसे हैं आप, दोस्तों आज में आपके साथ भारतीय दंड संहिता की धारा 468 पर महत्वपूर्ण है। इस धारा के अंतर्गत क्या अपराध होता है। यह धारा क्या कहती है आईपीसी धारा 468 में सजा और जमानत कैसे होती है इस धारा के बारे में पुरी जानकारी इस यूट्यूब चैनल Law Expert In India के माध्यम से बताने जा रहा हूं धारा 468 आईपीसी मतलब है छल के प्रयोजन से कूटरचना? भारतीय दंड संहिता की धारा 468 के अनुसार यदि कोई व्यक्ति किसी अन्य व्यक्ति के छल कपट कर किसी व्यक्ति से जरूरी दस्तावेज पर हस्ताक्षर करवा कर उन दस्तावेज को छल करने के लिए प्रयोग करें ऐसे व्यक्ति पर धारा 468 के तहत केस दर्ज किया जाता है और उसे 7 वर्ष की कारावास और आर्थिक जुर्माना लगा कर दंडित किया जाता है। यह एक संज्ञेय अपराध है किसी भी मजिस्ट्रेट द्वारा विचारणीय है। किसी भी व्यक्ति के छल कपट कर उसके साथ क्रूरता करना एक गंभीर अपराध माना जाता है। ऐसे करने पर भारतीय दंड संहिता में कड़ी सजा का प्रावधान दिया गया है। छल कपट कर उससे किसी निजी दस्तावेज पर हस्ताक्षर करवा कर उन दस्तावेज को ग़लत तरीके से प्रयोग करना बहुत बड़ा अपराध है, इस अपराध में आरोपी को 7 वर्ष की कारावास सुनाई जाती है। Example: मान लीजिये एक गाँव में दो लोग होते है एक A होता है और दूसरा B होता है A के पास बहुत सारी ज़मीन होती है लेकिन ये पढ़ा लिखा नहीं होता है और वहीँ B के पास भी ज़मीन होती है। लेकिन कम जमीन होती है लेकिन B को गलत तरीके से चीजों को लेना काफी अच्छा लगता है एक दिन B ने A के घर आया और छल कपट करके यानी की गलत तरीके से करके वो दस्तावेज पर हस्ताक्षर करवा लेता है। और A को मालूम भी नहीं चलता है। लेकिन बाद में जब तुरंत पता चलता है तो A थाना जाता है और B के ऊपर केस कर देता है तो पुलिस B के ऊपर IPC Section 468 अप्लाई करता है और उसे ग्रिफ्तार करके आगे करवाई करती है। धारा 468 में सजा का प्रावधान भारतीय दंड संहिता की धारा 468 के अनुसार यदि कोई व्यक्ति किसी से छल कपट कर किसी दस्तावेज का ग़लत तरीके से प्रयोग करता है तब ऐसे व्यक्ति को न्यायालय 7 वर्ष की कारावास और आर्थिक जुर्माना लगा कर दंडित करती है। यह एक संज्ञेय अपराध है किसी भी मजिस्ट्रेट द्वारा विचारणीय है। यह एक गैर जमानती अपराध है। किसी के साथ धोखा करना एक गंभीर अपराध है जिसमें किसी का नुक़सान हो सकता है, ऐसे अपराध आजकल बहुत देखने को मिलते हैं क्योंकि ऐसा व्यक्ति तभी करता है जब उस व्यक्ति के साथ पहले से ही कुछ झगड़ा चल रहा हो या फिर उस व्यक्ति की उन्नति किसी की आंखो में चुब रही हो तभी ऐसा छल करता है। धारा 468 में ज़मानत का प्रावधान IPC Section 468 के अनुसार यदि कोई किसी के साथ छल कपट करता है तो ऐसे व्यक्ति को 7 वर्ष की कारावास और आर्थिक जुर्माना लगा कर दंडित किया जाता है। और ऐसे अपराध में किसी भी आरोपी को ज़मानत मिलना काफ़ी मुश्किल होता है। यह एक गैर जमानती अपराध है। किसी भी मजिस्ट्रेट द्वारा विचारणीय है क्यूंकि ऐसे मामलों में न्यायालय को काफ़ी सोच विचार कर निर्णय लेना पड़ता है ताकि आगे चलकर कोई बड़ा अपराध ना हो, ऐसे में अगर आरोपी उच्च न्यायालय में अपनी ज़मानत की याचिका दायर करता है तो वहां उसकी याचिका को निरस्त कर दिया जाता है। या मजिस्ट्रेट परिस्थितयों को देखते हुए जमानत का फैसला लेते हैं धारा 468 आईपीसी में वकील की क्या भूमिका है? धारा 468 भारतीय दंड संहिता में वकील की बहुत आवश्यकता होती है धारा 468 भारतीय दंड संहिता का अपराध एक non-bailable यानी गैर जमानती अपराध है जिसमें न्यायालय के समक्ष अजमानतीय लेने के लिए और पूरे मुकदमे की ट्रायल लड़ने के लिए वकील की बहुत महत्वपूर्ण भूमिका होती है वकील ही एक ऐसा व्यक्ति है जो आपको जमानत दिलवा सकता है और न्यायालय में इस मुकदमे से बरी करवाने में वकील की एक बहुत महत्वपूर्ण भूमिका होती है वकील ऐसा ही नियुक्त करना चाहिए जो कि अपराधिक मामलों में पारंगत हो एवं अनुभवी हो इस प्रकार का वकील आपको नियुक्त करना होता है इसलिए धारा 468 भारतीय दंड संहिता के मामलों में वकील की एक बहुत अहम भूमिका होती है। Law Expert In India YouTube पर कानून से संबधित जानकारी देखने के लिए मैं आपका तह दिल से अभारी रहूंगा और आप सभी साथीयो दोस्तो का मैं बहुत बहुत धन्यवाद करता हु . धारा 468 आईपीसी में के संबंध मे आपका कोई ही सवाल है जिसका जवाब जानने के आप इछुक है तो आप कमेंट बॉक्स मैं मूझसे पुछ सकते है। मेरा नाम एस एल शर्मा है मैं पूर्व पुलिस कर्मी इवम वर्तमान समय मे पेशे से मे एक वकील हू| मेरे दो यूट्यूब चैनल Law Expert In India & Legal Expert In Delhi है यहा से आप सभी प्रकार की कानून से संबंद रखने वाली हर जानकारी देता रहूँगा जो आपके लिए हमेशा उपयोगी रहेगी | इसी अनुभव के साथ जरूरत मंद लोगों कानूनी सलाह देने के लिए यक छोटा स प्रयास किया है आशा करता हू की मेरे और मेरी टीम द्वारा दी गई जानकारी आपके लिए उपयोगी रहे |यदि आपको कोई कानूनी सलाह या जानकारी लेनी हो तो नीचे दिए गए संपर्क सूत्रों के माध्यम से हमसे संपर्क कर सकते है एस एल शर्मा अधिवक्ता: 9312231850 यशवंत शर्मा अधिवक्ता : 8510005533 Email:- [email protected]