У нас вы можете посмотреть бесплатно लंका कांड समाप्ति | रामायण कुंजी или скачать в максимальном доступном качестве, видео которое было загружено на ютуб. Для загрузки выберите вариант из формы ниже:
Если кнопки скачивания не
загрузились
НАЖМИТЕ ЗДЕСЬ или обновите страницу
Если возникают проблемы со скачиванием видео, пожалуйста напишите в поддержку по адресу внизу
страницы.
Спасибо за использование сервиса ClipSaver.ru
विभीषण ने लक्ष्मण को बताया कि इंद्रजीत निकुंबला देवी का यज्ञ करने के लिए अपने गुप्त स्थान पर गया है यदि उसने यह यज्ञ पूर्ण कर लिया तो उसे एक दिव्य रथ प्राप्त होगा फिर उसे हराना नामुमकिन हो जाएगा। लक्ष्मण अपने साथ सेना लेकर उसके यज्ञ को धवस्थ कर देते हैं और लक्ष्मण को युद्ध के लिए ललकारते हैं। इंद्रजीत जब लक्ष्मण को युद्ध में नहीं हरा पाता और अपनी सभी शक्तियों का इस्तेमाल करने के बाद भी लक्ष्मण को हरा नहीं पाता तो वह समझ जाता है की लक्ष्मण कोई साधारण मनुष्य नहीं है वह कोई देवता का अवतार है यही बात वह अपने पिता से मिलकर भी कहता है तो रावण उसे कहता है की तुम दर गए हो तो अपने राजमहल में जाकर बैठ जाओ मैं स्वयं युद्ध करने चला जाऊँगा। यह सुन कर इंद्रजीत को क्रोध आ जाता है और वह अपने पिता से अंतिम विदा लेता है और अपनी माता और पत्नी से मिलकर युद्ध के लिए चला जाता है। इंद्रजीत और लक्ष्मण के बीच युद्ध होता है और लक्ष्मण इंद्रजीत का वध कर देते हैं। रावण के सभी महारथी मर चुके थे तो उसे स्वयं ही युद्ध में आना पड़ा। युद्ध में आने के बाद वह श्री राम को ललकारता है और दोनों में भीषण युद्ध शुरू हो जाता है। श्री राम को विभीषण बताता है की रावण को ब्रह्मा जी का वरदान है उसकी नाभि में अमृत है जिसके कारण उसका अंत नहीं हो सकता पहले आप रावण की नाभि का अमृत सूखा दीजिए उसका अंत तभी हो सकता है। श्री राम रावण की नाभि में बाण मारते हैं और उसके अमृत को सूखा देते हैं उसके पश्चात श्री राम रावण का वध कर देते हैं। मरने से पहले रावण के मुख से श्री राम निकलता है और वह मार जाता है। श्री राम से युध करते करते जब रावण के सभी सेना नायक मौत के घाट उतार रहे थे तो रावण को कुछ समझ नहीं आ रहा था तो उसने अपनी भाई कुम्भकर्ण को नींद से जगाने की आज्ञा अपने सैनिकों को दे दी। कुम्भकर्ण बहुत ही विशाल देह का राक्षस था जो साल के 6 महीने सोता था और 1 दिन के लिए जागता था और पेट भर खाना खाता था और फिर 6 महीने के लिए सो जाता था। उस वक्त कुम्भकर्ण की नींद का समय था। लेकिन रावण उन्हें युद्ध में अपनी सहायता के लिए जगाता है। जब कुम्भकर्ण उठता है तो खाना खाता है है। खाना खा कर जब सेनापति कुम्भकर्ण के पास आता है और उन्हें बताता है की श्री राम से युद्ध चल रहा है और युद्ध का कारण माता सीता का हरण था। कुम्भकर्ण सारी बातें सुनकर अपने भाई रावण के पास जाता है। कुम्भकर्ण रावण को समझता है की उसने जो सीता माता का हरण कर सबसे बड़ी भूल की है, श्री राम खुद नारायण रूप हैं और उनके साथ आपने युद्ध करके ग़लत किया। लेकिन रावण को कुछ समझ नहीं आता, कुम्भकर्ण अपने भाई का साथ निभाते हुए युद्ध के लिए निकल पड़ता है। कुम्भकर्ण को मैदान में देख रणभूमि में हड़कम्प मच जाता है। कुम्भकर्ण को देख श्री राम को विभीषण उसके बारे में बताता है और विभीषण अपने बड़े भाई विभीषण को समझने के लिए जाता है। कुम्भकर्ण को समझने के लिए विभीषण कोशिश करता है लेकिन कुम्भकर्ण अपने भाई रावण का साथ निभाने के लिए तत्पर था। कुम्भकर्ण विभीषण को समझता है कि यादि युद्ध में उसकी मौत आज हो भी जाती है तो वह स्वयं श्री राम के हाथों मरेगा और वीरगति को प्राप्त होगा। श्री राम और कुम्भकर्ण के बीच युद्ध शुरू होता है श्री राम कुम्भकर्ण का वध कर देते हैं। रामायण कुंजी एक ऐसी श्रीनकल है जो रामायण का सार तथा मार्गदर्शिका जो इसे समझने और इसके गूढ़ अर्थों को जानने में सहायता प्रदान करे।और जटिल बात को सरलता से समजा जा सके रामायण एक भारतीय टेलीविजन श्रृंखला है जो इसी नाम के प्राचीन भारतीय संस्कृत महाकाव्य पर आधारित है। यह श्रृंखला मूल रूप से 1987 और 1988 के बीच दूरदर्शन पर प्रसारित हुई थी। इस श्रृंखला के निर्माण, लेखन और निर्देशन का श्रेय श्री रामानंद सागर को जाता है। यह श्रृंखला मुख्य रूप से वाल्मीकि रचित 'रामायण' और तुलसीदास रचित 'रामचरितमानस' पर आधारित है। इस धारावाहिक को रिकॉर्ड 82 प्रतिशत दर्शकों ने देखा था, जो किसी भी भारतीय टेलीविजन श्रृंखला के लिए एक कीर्तिमान है। निर्माता और निर्देशक - रामानंद सागर सहयोगी निर्देशक - आनंद सागर, मोती सागर कार्यकारी निर्माता - सुभाष सागर, प्रेम सागर मुख्य तकनीकी सलाहकार - ज्योति सागर पटकथा और संवाद - रामानंद सागर संगीत - रविंद्र जैन शीर्षक गीत - जयदेव अनुसंधान और अनुकूलन - फनी मजूमदार, विष्णु मेहरोत्रा संपादक - सुभाष सहगल कैमरामैन - अजीत नाइक प्रकाश - राम मडिक्कर साउंड रिकॉर्डिस्ट - श्रीपाद, ई रुद्र वीडियो रिकॉर्डिस्ट - शरद मुक्न्नवार Ramayan is an Indian television series based on ancient Indian Sanskrit epic of the same name. The show was originally aired between 1987 and 1988 on DD National. It was created, written, and directed by Ramanand Sagar. The show is primarily based on Valmiki's 'Ramayan' and Tulsidas' 'Ramcharitmanas'. The series had a viewership of 82 per cent, a record high for any Indian television series. The series was re-aired during the 2020 Coronavirus lockdown and broke several viewership records globally which includes setting the record for one of the most watched TV shows ever in the world, with 77 million viewers on 16 April 2020. #shreeram #ram #ramayan #ramayantvseries #ramayankunji