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HARYANA के MOST WANTED GANGSTER JITENDER PAHAL की UNTOLD STORY : CRIME से ENCOUNTER तक || EXCLUSIVE #exclusiveinterview #lawrencegang #lawrencebishnoi #don #lawrencebishnoiegroup #lawrencebishnoinews #lawrencebishnoiinterview #lawrencebishnoinews #gangsofharyana #gangster #exclusiveinterview #exclusivenews #gangsterstory #गैंगस्टर #exclusiveinterview #ajayvijay #kanamandi #lawrencebishnoi #atiqueahmed #sunildujaniya #gangstar #gangsofindia #topgangster #famoustiktokers #famousgangster #don #don जींद के बहुचर्चित बदमाश जितेन्द्र पहल व रणधीर फर्जी एनकाउंटर मामले में मंगलवार को जिला अदालत ने 6 में से दो पुलिसवालों को दोषी करार दिया और इस मामले में पूर्व डीजीपी लक्ष्मण दास, पूर्व एसपी विजिलेंस वेद प्रकाश वर्मा, कॉन्स्टेबल सूबे सिंह को बरी कर दिया है। मामला 1994 का है जब सोनीपत में पुलिस द्वारा इन दोनों बदमाशो का फर्जी एनकाउंटर किया गया था। फिलहाल इस मामले की अगली तारीख 20 मार्च तय की गयी है जहां इन दोनों आरोपियों के लिए सजा मुकर्रर की जानी है। 18 साल बाद सुनाया अदालत ने अपना फैसलाः आज अंबाला अदालत ने 18 साल बाद बदमाश जितेन्द्र पहल व रणधीर फर्जी एनकाउंटर मामले में फैसला सुनाते हुए जींद के पूर्व सीआ ए इंस्पेक्टर नर सिंह और पूर्व हेड कॉन्स्टेबल रमेश चंद को आरोपी करार दे दिया है इस मामले में फंसे पूर्व डीजीपी लक्ष्मण दास, पूर्व एसपी विजिलेंस वेद प्रकाश वर्मा, कॉन्स्टेबल सूबे सिंह को बरी कर दिया है। मामला 20 साल पहले 1994 का है जब जींद पुलिस ने बदमाश जितेन्द्र और रणधीर को हिरासत में लिया था। दोनों पर हत्या , बलात्कार , टाडा , किडनैपिंग जैसे कई मामले चल रहे थे। ऐसे ही एक मामले में जांच के लिए दोनों को जींद पुलिस सोनीपत ले गयी थी और दोनों का वहां फर्जी एनकाउंटर कर दिया गया। पुलिस ने इस मामले मे कहानी कुछ इस तरह से बनाई थी। रात का समय था और पुलिस की जीप रेत में फंस गयी इतने में कुछ बदमाशो ने जीप पर हमला करते हुए दोनों को छुड़ाने की कोशिश की लेकिन अंधेरे में दोनों की मौत हो गयी। इसके बाद 1996 में जितेन्द्र की मां इश्वरती देवी ने हाईकोर्ट में याचिका डालकर मामले की जांच सीबीआई से करने की अपील की। आखिरकार लम्बे इन्तजार के बाद आज इस मामले में अदालत ने फैंसला सुनाते हुए दो अधिकारीयों और एक कॉन्स्टेबल को बरी कर दिया और दो पुलिस वालो को फर्जी एनकाउंटर का आरोपी करार दिया। जिस वक्त अदालत ने यह फैंसला सुनाया उस वक्त पूर्व डीजीपी लक्ष्मण दास और पूर्व एसपी वेद प्रकाश की आँखों में आंसू थे। पूर्व एसपी वेद प्रकाश इस वक्त व्हील चेयर पर हैं। पूर्व डीजीपी ने अदालत के फैंसले को सम्मान देते हुए कहा कि अदालत ने उनके हक़ में फैंसला सुनाया है लेकिन वे सब भी मुजरिम नही है। पूर्व एसपी वेद प्रकाश के वकील ने बताया कि अदालत ने इस मामले में काफी लम्बे समय बाद फैंसला सुनाया लेकिन बहुत ठीक फैंसला सुनाया है। कई महीनों तक जेल में रहे थे पुलिस अधिकारीः इस मामले में पूर्व डीजीपी लक्ष्मण दास 16 महीने जेल में काट चुके हैं और पूर्व एसपी विजिलेंस वेद प्रकाश वर्मा दो साल की सजा काट चुके हैं बाकी पुलिसवालों ने 8 साल जेल में काटे। फिलहाल सभी लोग जमानत पर चल रहे थे। सीबीआई के अधिकारी ने कहा कि इस मामले में दो आरोपियों को अदालत ने दोषी करार दे दिया है।